Moral Stories In Hindi – (25+ नैतिक कहानियां) – कहानियों का भूमिका बच्चों के लिए काफी महत्वपूर्ण है इस वजह से आज के इस पोस्ट पर हम आप लोगो को Moral Stories In Hindi के बारे में बताएंगे जो आपको जरूर पसंद आयेगा।
बच्चों का विकास कहानियों के माध्यम से बहुत ही अच्छा होता है। सिर्फ बच्चों को ही कहानियां पसंद नहीं होता बल्कि बड़ों को भी कहानियां पढ़ना काफी अच्छा लगता है।
कहानियां हमारे अंदर के भावनाओं को प्रकाश करता है और यदि Moral Stories In Hindi के बारे में बात करें तो Moral Stories हमें बहुत कुछ सीख देता है और इससे हमारा जीवन काफी अच्छा हो जाता है।
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Moral Stories In Hindi – नैतिक कहानियां
नैतिक कहानियां बच्चों के लिए काफी अच्छा होता है यदि आप, नैतिक कहानियां पढ़ना पसंद करते हैं तब यह पोस्ट आप सभी के लिए काफी फायदेमंद होने वाला है। हमने Moral Stories In Hindi पर जो नैतिक कहानियां लिखा है, वह Moral Stories है –
1) खरगोश और कछुए की दौड़ की कहानी
खरगोश रहा करता था खरगोश खुद को सबसे ज्यादा बुद्धिमान और तेज समझता था और वह हर वक्त सबका बुराई करता था 1 और कछुए को देखकर जोर जोर से हंसता था। 1 दिन कछुआ खरगोश के पास से गुजर रहा था तब खरगोश कछुआ से पूछता है क्या तुम मेरे साथ दो लगाओगे तब गजवा कहता है हां क्यों नहीं खरगोश जानता था कि वह जीतेगा इस वजह से वह कछुए को कहा जो दौर में हारेगा उसे उसका खाना जीतने वाले को दे देना होगा।
कछुए और खरगोश के बीच दौड़ चालू हुआ खरगोश बहुत तेज था इस वजह से वह कछुए से बहुत आगे निकल गया परंतु कछुआ धीरे-धीरे चलने लगा जब खरगोश ने देखा कि उसके पीछे कछुआ नहीं है तब खरगोश मैं सोचा कि मैं तो बहुत तेज भागता हूं कछुआ तो अभी बहुत दूर होगा तो खरगोश एक पेड़ के नीचे सो जाता है। कछुआ धीमे-धीमे करके दौड़ जीत जाता है कुछ देर बाद खरगोश का नींद खुलता है और वह भागते भागते दौर को पूरा करता है और देखता है कि कछुआ जीत गया।
नैतिक ज्ञान – “इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कभी समय का दुरुपयोग नहीं करना चाहिए क्योंकि समय कभी भी किसी के लिए नहीं रुकता।”
2) ईमानदार लकड़हारा की कहानी
छोटे से गांव में जतिन नाम का एक बहुत ही ईमानदार लकड़हारा था करता था लकड़हारा रोज की तरह जंगल में लकड़ी काटने गया था। पेड़ को काटने के वक्त लकड़हारा का कुल्हारी पानी में गिर जाता है क्योंकि लकड़हारा बहुत गरीब था इस वजह से वह बहुत ही जोर जोर से रो रहा था।
लकड़हारा जब जोर जोर से रो रहा था तब अचानक नदी से एक देवी प्रकट होती है और लकड़हारा से पूछता है कि वह लकड़हारा क्या हुआ है तब लकड़हारा जवाब में कैसा है मेरा कुल्हाड़ी नदी में गिर गया है मेरे पास कोई भी कुल्हारी नहीं है अब मैं क्या करूं।
तब नदी से प्रकट हुआ देवी लकड़हारा से कहता है कि यह सोने का कुल्हारी क्या तुम्हारा है तब लकड़हारा कहता है नहीं यह सोने का कुल्हारी मेरा नहीं है। देवी लकड़हारा के सच बात से खुश होते हैं और लग रहा राको सोने का और लोहे का दोनों ही कुल्हारी दे देते हैं।
लकड़हारा का एक और दोस्त लकड़हारा के सोने की कुल्हाड़ी के बारे में जान जाता है और वह लकड़हारा नदी के पास जाता है और खुद से ही अपने कुल्हारी को नदी में फेंक देता है और जोर जोर से रोने लगता है।
कुछ देर बाद नदी से देवी प्रकट होती है और उस व्यक्ति से पूछती है क्या सोने का कुल्हाड़ी तुम्हारा है तब वह व्यक्ति लालच में आकर के देता है हां यह सोने का कुल्हाड़ी मेरा है तब देवी उस व्यक्ति से गुस्सा हो जाती है और उसे कोई भी कुल्हारी वापस नहीं देती।
नैतिक ज्ञान – “इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कभी हम लोगों को लालच नहीं करना चाहिए क्योंकि लालच का फल हमेशा कड़वा ही होता है”
3) काम का असली महत्व की कहानी
अरनब नाम का एक लड़का मुंबई के शहर में अपना एक कंप्यूटर का दुकान खुलता है अरनव के पिता एक बहुत ही बड़े डॉक्टर थे उन्हें कोई भी छोटा काम पसंद नहीं था।
जब अरनव के पिता को अरनब के कंप्यूटर के दुकान के बारे में पता चला तब वह बहुत गुस्सा हो गए और अरनव को बहुत बुरा भला कहा और साथी में उसे यह भी कहा कि मैंने तुमको पर लिखकर इतना बड़ा बनाया यह करने के लिए।
अरनब एक बहुत ही सीधा साधा लड़का था परंतु वह जो काम को करता था उसे पूरा ईमानदारी और मेहनत से करता था अरनब को बचपन से ही कंप्यूटर का बहुत शौक था इस वजह से उसने कंप्यूटर का दुकान खुला था।
सभी लोग कह रहे थे कि काम बहुत ही छोटा है यह तुम्हें शोभा नहीं देता और इस काम में तुम्हें सफलता भी नहीं मिलेगा परंतु अरनब इन सब बातों को ध्यान नहीं देता था और अपने काम को करता रहता था कुछ दिन बाद उसे कंप्यूटर की दुकान में बहुत मुनाफा हुआ और धीरे-धीरे अरनब का कारोबार और बड़ा होता गया।
नैतिक ज्ञान – “इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कोई काम छोटा नहीं होता है काम जैसा भी हो उसका महत्व को हमें समझना चाहिए तभी जाकर हमें सफलता मिल सकता है”
4) लालची आदमी की कहानी
रतन नाम का एक बहुत ही गरीब आदमी रहा करता था उसके पास ज्यादा पैसा नहीं था।एक जिम सुबह रतन खेत में खेती करने जा रहा था तब उसका नजर एक मुर्गी की तरफ बड़ा मुर्गी कोई साधारण मुर्गी नहीं था मुर्गी सोने का अंडा दे रहा था।
सोने का अंडा देने वाला मुर्गी को देखकर रतन मुर्गी को अपने साथ घर ले आता है दो-तीन दिन बीत जाता है मुर्गी सोने का अंडा देता है धीरे-धीरे रतन अमीर होता जाता है।
परंतु रतन के अंदर लालच आ जाता है और वह सोचता है कि यदि मुर्गी को काट दे तो बहुत सारा सोने का अंडा मिल जाएगा जैसे ही रतन मुर्गी को काटता है वैसे ही मुर्गी के अंदर से कोई भी सोने का अंडा नहीं निकलता है और तभी रतन को अपने लालच का एहसास हो जाता है।
नैतिक ज्ञान – “इस Moral Stories से हमें यह सीख मिलता है कि लालच नहीं करना चाहिए क्योंकि लालच में आकर कोई भी काम अच्छा नहीं होता”
5) चालाक बंदर की कहानी
एक दिन एक बंदर जंगल में घूम रहा था बंदर घूमते घूमते जंगल के बहुत अंदर चला गया था। बंदर का उम्र बहुत छोटा था इस वजह से वह इधर उधर भाग रहा था तभी वह देखता है एक बहुत बड़ा सा भालू बंदर के पास आ रहा है।
भालू को देखकर बंदर बहुत परेशान हो गया था परंतु फिर भी उसने अपने मन को शांत किया और जमीन पर कोई मरा हुआ बंदर की तरह लेट गया भालू बंदर के पास आया और देखा कि यह बंदर मरा हुआ है इस वजह से वह चला गया और बंदर बच गया।
नैतिक ज्ञान – “चालाक बंदर की इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि हमें मुसीबतों के समय में दिमाग को शांत रखना चाहिए तभी हम मुसीबतों का सामना आसानी से कर सकते हैं”
6) कुत्ते का गलतफहमी की कहानी
एक बहुत बड़े घर में पिंटू नाम का पालतू कुत्ता रहा करता था हर दिन सुबह पिंटू सभी के पास जाकर आवाज करके सब को उठा देता था।हर कोई सुबह उठ जाता था परंतु कोई पिंटू को ज्यादा अहमियत नहीं देते थे और पिंटू सोचता था कि सभी उसके वजह से ही उठते हैं परंतु उसे कोई अहमियत नहीं देता।
पिंटू नाम का कुत्ता एक दिन सोचता है कि यदि मैं सुबह आवाज ना करके सभी को ना उठाओ तो कोई नहीं उठेंगे तब सब को मेरा अहमियत पता चलेगा।अगले दिन पिंटू ने कोई भी आवाज नहीं किया फिर भी सभी लोग समय से उठ गए तब पिंटू का गलतफहमी दूर हुआ और पिंटू को एहसास हुआ कि गलतफहमी करना अच्छा नहीं है।
नैतिक ज्ञान – “इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि हमें कभी भी गलतफहमी नहीं करना चाहिए”
7) शक्ति का गलत प्रयोग की कहानी
विकास नाम का एक बहुत ही बदमाश और शक्तिशाली लड़का रहा करता था जो कॉलेज में हर किसी को तंग करता रहता था और यदि कोई उसे कुछ कहता तो वह अपनी शक्ति से उसे मारता था। विकास केवल अपने से कम शक्तिशाली लोगों को ही तंग करता था।
1 दिन विकास कुछ ना सोच कर ही कॉलेज में आया हुआ नया लड़का को तंग किया था परंतु विकास सोचा था कि वह नया लड़का उसे कुछ नहीं करेगा परंतु नया लड़का ने विकास को तंग करने के कारण बहुत मारा जिस वजह से विकास को एहसास हुआ कि कभी भी शक्ति का गलत उपयोग नहीं करना चाहिए।
नैतिक ज्ञान – “कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कभी कमजोर लोगों पर शक्ति का गलत उपयोग नहीं करना चाहिए”
8) प्यासे कौवे की कहानी
एक कौवा गर्मी के मौसम में खाने की तलाश कर रहा था खाने का तलाश करते करते कौवा बहुत दूर जा पहुंचा था जिस वजह से कौवे को बहुत प्यास आया था।कौवा इधर-उधर पानी ढूंढ रहा था परंतु उसे पानी कहीं पर भी पानी देखने को नहीं मिल रहा था।
पानी का तलाश करते करते कौवे को एक पानी का मटका दिखा परंतु जैसे ही कौवा पानी के मटका के पास गया तो देखा है कि पानी मटके के बहुत नीचे हैं जिस वजह से कौवा पानी को पी नहीं सकता।
परंतु इस मुसीबत के समय कौवे ने अकल से काम लिया तभी कौवा को पानी के मटका के सामने छोटा-छोटा पत्थर दिखता है और धीरे-धीरे कौवा मटके के अंदर पत्थर फेकता जाता है पत्थर फेंकने के कारण पानी धीरे-धीरे मटके के बहुत ऊपर आ जाता है और कौवा शांति से पानी पी जाता है।
नैतिक ज्ञान – “इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि मुसीबत के समय अकल से काम लेना चाहिए तभी मुसीबत का सामना आसानी से किया जा सकता है”
9) चार भाई की कहानी
एक छोटे से गांव में चार भाई रहा करते थे चार भाई पहले तो एक दूसरे के बहुत अच्छे दोस्त थे परंतु एक दिन कुछ कारण के वजह से चार भाइयों में झगड़ा हो गया कोई आपस में बात नहीं कर रहा था जो कि घर वालों को बिल्कुल भी अच्छा नहीं लग रहा था।
घर के सदस्य को चार भाइयों का यह झगड़ा बिल्कुल भी पसंद नहीं आ रहा था इस वजह से घर के सदस्यों ने चार भाइयों को एक बहुत ही अच्छा सीख देने के बारे में सोचा और चार भाइयों को एक-एक करके लकड़ी की काठी दे दिया और कहा इसे तोड़ने को सभी ने एक लकड़ी की काठी को आसानी से तोड़ दिया।
तभी घर वालों ने चार भाइयों को और 4 करके लकड़ी का काठी दे दिया और उसे एक साथ तोड़ने को कहा परंतु कोई भी लकड़ी का काठी को तोड़ नहीं पाया तब घर वालों ने उन्हें समझाया कि यदि तुम लोग एक साथ रहोगे तो मुसीबत का सामना आसानी से कर पाओगे और यदि अकेले रहोगे तो जीवन में कोई भी मुसीबत का सामना नहीं कर पाओगे।
नैतिक ज्ञान – “हमेशा मिल जुल कर रहना चाहिए तभी कोई भी मुसीबत का सामना आसानी से किया जा सकता है”
10) लालची कुत्ता की कहानी
एक शहर में पिंटू नाम का कुत्ता रहा करता था जो हर समय केवल खाना ढूंढता रहता था। पिंटू नाम का कुत्ता एक दिन एक कसाई की दुकान के बाहर खड़ा था तब उसे बाहर एक बड़ा सा मांस का टुकड़ा मिला जिसे लेकर कुत्ता नदी के सामने चला गया।
कुत्तों ने देखा नदी में एक कुत्ता मांस का टुकड़ा लेकर खड़ा है तब उसने लालच में आकर उस कुत्ते का मांस लेने के बारे में सोचा और कुत्ते को देखकर आवाज किया वैसे ही कुत्ते के मुंह से मांस का टुकड़ा नदी में गिर गया तब कुत्ते को समझ आया कि वह तो उसी का परछाई था।
नैतिक ज्ञान – “लालची कुत्ता कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कभी लालच नहीं करना चाहिए क्योंकि लालच का फल हमेशा खराब ही होता है”
11) चींटी और कबूतर की कहानी
नदी के पास एक कबूतर पेड़ के ऊपर बैठा था और तभी कबूतर का नजर नदी के ऊपर पड़ता है और नदी में एक चींटी गिर गया था जिसे कबूतर पत्ते के मदद से नदी से बाहर ले आता है क्योंकि चींटी का जान कबूतर बचाया था इस वजह से चींटी ने कबूतर को धन्यवाद कहां।
कुछ दिन बाद कबूतर फिर से एक पेड़ के ऊपर बैठा था और एक शिकारी तीज के मदद से कबूतर का शिकार करने जा रहा था तभी चींटी रास्ते से गुजर रहा था चींटी ने शिकारी को देखकर उसके पैर पर जोर से काटता है शिकारी जोर से आवाज देता है और शिकारी को देख कर भाग जाता है और बाद में चींटी को धन्यवाद कहता है।
नैतिक ज्ञान – “इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि हर वक्त लोगों का मदद करना चाहिए क्योंकि लोगों का मदद करने से खुद को भी मुसीबत के समय मदद मिलता है”
12) बबलू और कुत्ता की कहानी
बबलू नाम का एक छोटा सा लड़का करोल बाग नाम का शहर में रहा करता था। बबलू जब भी स्कूल जाता था तब वह एक कुत्ता को खाना खिलाता था। कुत्ते को खाना खिलाने के कारण बबलू स्कूल बहुत देर से पहुंचता था जिस कारण सभी उसे बहुत डांटते थे परंतु फिर भी बबलू रोज कुत्ते को खाना खिलाता था।
1 दिन बबलू सुबह घर से रोटी लेकर कुत्ते को रोज की तरह खाना खिलाने गया था तभी तीन चार लड़के आकर उसे अपहरण करने जा रहे थे तभी बबलू जिस कुत्ते को खाना खिलाता था वह कुत्ता आकर तीन-चार लड़के को काटा और उसे बबलू से बहुत दूर भगा दिया और तब बबलू अपहरण होने से बच गया।
नैतिक ज्ञान – “इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि हमेशा लोगों का मदद करना चाहिए क्योंकि मदद करने से मुसीबत के समय खुद को भी मदद मिलता है ”
13) पैसे का थैली की कहानी
एक दिन जतिन नाम का एक लड़का रास्ते से जा रहा था तभी उसका नजर रास्ते में पढ़ा हुआ एक थैली के ऊपर जाता है जतिन थैली के पास जाता है और देखता है कि उस थाली पर बहुत सारे पैसे हैं तब वह लालच में आकर उस पैसे के बैग को अपने साथ अपने घर ले जाने के बारे में सोचता है।
जतिन चुपचाप पैसे से भरा हुआ थैली को लेकर अपने घर की तरफ जा रहा था तभी 2-4 पुलिस अफसर जतिन के पास आती है और पूछते हैं कि क्या यह थैली तुम्हारा है तब जतिन लालच में आकर पुलिस अफसर को कह देता है हां यह बैग मेरा है और मैं घर जा रहा हूं तब पुलिस अफसर जतिन को पकड़ लेता है और पैसे के चोरी के कारण उसे जेल में बंदी कर देता है।
नैतिक ज्ञान – “हमें इस कहानी से यह सीख मिलता है कि कभी लालच में आकर कोई काम नहीं करना चाहिए क्योंकि लालच हमें बर्बाद कर दे सकता है”
14) तेनाली रामा और 2 चोर की कहानी
एक दिन तेनाली रामा और उनकी पत्नी रात में सो रहे थे तभी अचानक तेनाली रामा बाहर पत्तों की आवाज से जाग जाते हैं और समझ जाते हैं कि शायद चोर आया हैं तब तेनाली रामा एक खाली बक्से में पत्थर भरकर उसे कुआं में फेंक देते हैं।दो चोर ने देखा कि तेनाली रामा कुएं में एक बक्सा को फेंक रहे हैं तब उन्होंने सोचा कि उस बक्से में शायद हीरा सोना होगा तो उन लोगों ने सारी रात जागकर कुआं से बक्सा को निकालने का कोशिश किया परंतु वह सफल नहीं हुए परंतु सुबह दो चोरों ने मिलकर कुएं से बक्सा को निकाल ही लिया।
जब दो चोर ने देखा कि बक्से में हीरा मोती के जगह पत्थर ही पत्थर भरे हुए हैं तब वह लोग समझ गए कि यह चतुर तेनाली रामा का ही काम है अचानक तेनाली रामा बाहर आए और चोरों से कहा कि तुम लोगों ने कुआं से बक्सा निकालने के वक्त मेरे पौधों में पानी दिए हो इस वजह से मैं तुम्हें उपहार देना चाहता हूं। रामा का इस व्यवहार को देखकर दो चोर बहुत दुखी हो जाते हैं और तेनालीरामा से कहते हैं हम कभी भी चोरी नहीं करेंगे और आप हमें माफ कर दीजिए।
नैतिक ज्ञान – “तेनाली राम के इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कभी कोई गलत काम नहीं करना चाहिए”
16) चालाक खरगोश की कहानी
भयानक सा शेर रहा करता था शेर रोज जानवरों का शिकार करता था और उसे खा जाता था। क्योंकि शेर जंगल का राजा था इस वजह से सभी पशु पक्षी और जानवर शेर से बहुत डरते थे परंतु कोई भी जानवरों को पशु पक्षियों का शिकार देखना अच्छा नहीं लग रहा था जिस वजह से सभी जानवर मिलकर शेर के पास गए और कहे कि आब से आप शिकार मत करिएगा हम लोग आपको हर रोज एक जानवर शिकार के लिए देंगे।
शेर के पास रोज कोई ना कोई जानवर जाता था और शेर उसका शिकार कर लेता था 1 दिन सभी जानवरों ने मिलकर सोचा खरगोश को शेर के पास भेजने के बारे में खरगोश था बहुत चालाक जिस वजह से वह शेर के पास जाते वक्त एक कुआं देखता है और तभी खरगोश के दिमाग में एक बहुत ही अच्छा विचार आता है। शेर खरगोश को देखकर कहता है आने में इतना देर क्यों हुआ।
खरगोश शेर को देखकर कहता है मैं तो सही समय पर ही आ रहा था अचानक मुझे जंगल में एक शेर दिख गया शेर ने कहा कि वह जंगल का असली राजा है और आप ढोंगी हो शेर बहुत गुस्सा हो गया और खरगोश को कहा किसने मुझे ढोंगी कहा है मुझे उसके पास ले चलो चालाक खरगोश शेर को कुएं के पास ले गया और कहा कि कुए के अंदर ही शेर बैठा हुआ है। शेर कुए के अंदर एक शेर को देखा और कुए के अंदर चला गया तब शेर को अहसास हुआ कि कुएं के अंदर शेर का ही परछाई देखा था।
नैतिक ज्ञान – “चालाक खरगोश के इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है की मुसीबत के समय हमें चतुराई से काम लेना चाहिए”
16) सच्ची लड़की की कहानी
सोफिया नाम का एक लड़की रोज की तरह स्कूल गई थी स्कूल जाकर उसने अपनी दोस्त एमिलिया के पास एक बहुत ही सुंदर पेन देखा जिसको देखकर वह बोहोत खुश हो गए।
स्कूल में टिफिन का समय चल रहा था सभी क्लास रूम के बाहर गए थे परंतु सोफिया रूम में ही थी सोफिया का नजर एमिलिया के पेन की तरफ पड़ता है और वह उस पेन को अपने पास रख लेती है।
अगले दिन सभी स्कूल आते हैं और तभी एमिलिया अपने टीचर से कहती है टीचर मुझे मेरा पेन कहीं पर भी नहीं मिल रहा है और जोर जोर से रोने लगती है तभी सोफिया टीचर को सब सच सच कह देती है और एमिलिया को फिर वापस कर देती है।
क्योंकि सोफिया ने सच कह दिया था इस वजह से टीचर ने सोफिया को नहीं डांटा और कहा कि दोबारा ऐसा काम नहीं करना और सभी लोग सोफिया के सच कहने के कारण खुश हो गए।
नैतिक ज्ञान – “किसी भी परिस्थिति में हमें झूठ नहीं बोलना चाहिए हमेशा सच ही बोलना चाहिए”
17) कुत्ता की भूख मिट गई की कहानी
एक दिन एक बच्चा बाहर खेल रहा था तब उसने देखा कि एक कुत्ता बाहर बहुत जोर जोर से रो रहा है और सभी लोग उस कुत्ता को डरा कर भगा रहा है तभी वह बच्चा कुत्ते के पास जाकर सभी से कहता है इस कुत्ते को मत मारो यह शायद भूखा होगा इस वजह से ही रो रहा है तब वह बच्चा कुत्ता को अपने साथ घर ले जाता है और उसे खाना खिलाता है कुत्ता खाना खा कर खुश हो जाता है और यह देखकर बच्चा भी मुस्कुराने लगता है।
नैतिक ज्ञान – “दूसरों के मदद करने से खुद को भी आनंद मिलता है इस वजह से हमें हमेशा सभी का मदद करना चाहिए”
18) हाथी की मित्रता की कहानी
एक छोटे से जंगल में ढोलू नाम का एक बहुत बड़ा हाथी रहा करता था हाथी का कोई भी दोस्त नहीं था परंतु हाथी दोस्त बनाना पसंद करता था 1 दिन हाथी बंदर को जाकर कहता है क्या तुम मेरे दोस्त बनोगे तब बंदर हाथी को देख कर हंसता है और कहता है तुम मेरे दोस्त नहीं बन सकते तुम पैर में उछल कूद भी नहीं कर सकते तो तुम कैसे मेरे दोस्त बनोगे।
कुछ दिन बाद हाथी एक खरगोश को देखता है और उसे कहता है क्या तुम मेरे दोस्त बनोगे तब वह खरगोश हाथी को कहता है नहीं मैं तुम्हारा दोस्त नहीं बन सकता तुम बहुत ही बड़े हो अगर गलती से तुम मेरे ऊपर अपना पैर रख देते हो तो मैं तो पूरा कुचल जाऊंगा।
हाथी को बहुत दुख लगता था क्योंकि कोई उसका दोस्त नहीं बनता था 1 दिन जंगल के सभी जानवर बहुत जोर से भाग रहे थे तभी हाथी खरगोश से पूछता है क्यों भाग रहे हो तब खरगोश हाथी को कहता है शेर जानवरों का शिकार कर रहा है इस वजह से सभी जानवर भाग रहे हैं तब हाथी शेर के पास जाता है और शेर को अपने पैर से लात मार के भगा देता है और बाद में सभी हाथी का दोस्त बन जाते हैं।
नैतिक ज्ञान – “जो मुसीबत के समय साथ देता है वही असली और अच्छा मित्र होता है।
19) शेर और हिरण की कहानी
जंगल में एक बहुत ही भयानक शेर रहा करता था शेर का नजर हिरण के ऊपर था शेर बहुत दिनों से हिरण को खाना चाहता था परंतु शेर हिरण को नहीं खा पा रहा था क्योंकि हिरण हाथी के जून के साथ रहा करता था।
एक दिन शेर हिरण के पास जाकर हिरण की तरह घास खाने लगा तब ही हिरण डरते हुए शेर से कहा कि आप तो मांस खाते हैं परंतु आप घास क्यों खा रहे हैं तब शेर ने कहा कि आब से मैं मांस खाना छोड़ दिया हूं।
हिरण थोड़ा बेवकूफ था जिस वजह से उसने सोचा कि शेर सच कह रहा है और फिर उसे दोस्ती करना चाहता है कुछ देर बाद शेर हिरन से कहता है मुझे पता है एक जगह जहां पर बहुत अच्छा घास है।
हिरण शेर का बात सुनकर शेर के साथ एक जगह घास खाने चला जाता है।जैसे ही हिरण घास खाने लगता है वैसे ही अचानक शेर हिरण के पास आकर उसे मार कर खा जाता है और हिरण के गलत सोच के वजह से ही वह अपना प्राण गवा आता है।
नैतिक ज्ञान – “कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कभी दुश्मनों पर भरोसा नहीं करना चाहिए क्योंकि उसका फल हमेशा बुरा ही होता है”
20) आलस लड़के की कहानी
पिंटू नाम का एक लड़का था जो बेहद ही अलसी स्वभाव का था घर में सभी लोग उसे आलस को छोड़ने को कहते थे परंतु वह किसी का बात नहीं सुनता था।पिंटू सोच की तरह स्कूल गया था स्कूल जाकर उसे पता चला कि अगले महीने उसका परीक्षा है।
पिंटू जानता था कि अगले महीने उसका परीक्षा है परंतु वह रोज कल पढ़ाई करूंगा आज पढ़ाई करुंगा दूसरे दिन करूंगा यह कहकर बात को टाल देता था परंतु कुछ दिन बाद परीक्षा सामने आ गया परंतु उसने कुछ भी नहीं पड़ा और बाद में वह परीक्षा में फेल कर गया।
नैतिक ज्ञान – “कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कभी आलस नहीं करना चाहिए क्योंकि आलस करने से कोई भी काम सही या अच्छा नहीं होता”
21) शेर और चूहे की कहानी
एक भूखा शेर शिकार करने के लिए जंगल के इधर उधर घूम रहा था तभी शेर का नजर एक चूहा की तरफ पड़ता है शेर चूहा को पकड़ लेता है तभी चूहा शेर को कहता है मेरा आकार बहुत ही छोटा है यदि आप मुझे खाएंगे तो आपका पेट नहीं भरेगा।
शेर चूहे का बात सुनकर चूहे को छोड़ देता है चूहे शेर को धन्यवाद कहता हैं।कुछ दिन बाद शेर शिकार करने के लिए निकला था तभी शेर शिकारी के जाल में फंस जाता है और तभी चूहा उस रास्ते से गुजर रहा था चूहा जाल को अपने नुकीले दांत से काट देता है और शेर शिकारी के जाल से आजाद हो जाता है।
नैतिक ज्ञान – “शेर और चूहे के इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि लोगों का मदद करना चाहिए तभी मुसीबत के समय खुद को भी मदद मिलता है।”
22) एक भूखे चूहे की कहानी
एक दिन एक भूखा चूहा घर के इधर उधर भटक रहा था तब उसका नजर चीनी के डिब्बे के तरफ पड़ता है।चूहा जब चीनी के डिब्बे के पास जाता है तो देखता है एक छोटा सा छेद है उसके अंदर से चूहा चीनी के डिब्बे के अंदर चला जाता है।
चीनी के डिब्बे के अंदर चले जाने के बाद चूहा सभी चीनी को खा लेता है और उसका वजन थोड़ा बढ़ जाता है जब चूहा चीनी के डिब्बे से बाहर निकलना जाता है तब वह निकल नहीं पाता क्योंकि उसका आकार बहुत ज्यादा अधिक हो गया था।
नैतिक ज्ञान – “कोई भी चीज अधिक अच्छा नहीं होता।”
23) स्वच्छता की कहानी
विद्यालय में मुरारी नाम का एक छात्र था मुरारी पढ़ाई में बेहद अच्छा था वह हर वक्त अव्वल नंबर से पास होता था मुरारी के सभी दोस्त मुरारी से बहुत जलते थे।एक दिन क्लास मॉनिटर देखता है कि मुरारी प्रार्थना करने नहीं आया है तब वह स्कूल के मास्टर से कहता है कि मुरारी पार्थना के वक्त नहीं आया था।
स्कूल मास्टर मुरारी से पूछते हैं तुम पार्थना के वक्त क्यों नहीं आए थे तब मुरारी टीचर से कहता है मास्टर हमारा क्लास का रूम का हालत अच्छा नहीं था कचरा इधर-उधर फैला हुआ था जिस कारण मैंने क्लास रूम पर रहकर इसे साफ करने का निर्णय लिया यदि आपको लगे कि मैंने कोई गलती क्या है तब आप मुझे सजा दे सकते हैं मास्टर मुरारी का बात सुनकर खुश हो जाता है और उसे कोई भी सजा नहीं देते हैं।
नैतिक ज्ञान – “स्वच्छता ही जीवन का असली धर्म है।
24) मछुआरों की कहानी
एक मछुआरा मछली पकड़ रहा था बहुत समय हो गया था परंतु उस मछुआरा के जाल में एक भी मछली नहीं फस रहा था मछुआरा गुस्सा हो गया और कहा कि अब से में कोई मछली नहीं पकड़ूंगा।
तब और एक मछुआरा ने मछुआरे को कहा कि हिम्मत मत छोड़ो यदि तुम कुछ और समय तक मछली पकड़ने का कोशिश करोगे तो तुम जरूर मछली पकड़ पाओगे।
मछुआरा ने और एक मछुआरा का बात सुनकर और कुछ समय तक मछली पकड़ने का कोशिश किया और उसके जाल में मछली फस ही गया और मछुआरा बहुत खुश हो गया।
नैतिक ज्ञान – “मछुआरों के इस कहानी से हमें यह सीख मिलता है कि कभी हिम्मत नहीं छोड़ना चाहिए”
25) हिरण और हाथी की कहानी
हिरण दौड़ रहा था तब हिरण को एक हाथी मिला हाथी हिरण से पूछा क्यों भाग रहे हो तब हिरण ने हाथी को कहा शेर मेरे पीछे पड़ा है और शेर मेरा शिकार करना चाहता कृपया आप मुझे बचा ले हाथी ने हिरण को पेड़ के पीछे छुप जाने को कहा।
शेर कुछ देर बाद आया और हाथी से पूछा तुमने हिरण को देखा है तो हाथी ने कहा मैंने हिरण को नहीं देखा है परंतु धीरे-धीरे हाथी ने शेर को कहा शायद हिरण पेड़ के पीछे हो सकता है परंतु शेर पेड़ के पीछे नहीं गया और वहां से चला गया।
कुछ देर बाद हाथी हिरण के पास गया और कहा मैंने तुम्हें बचा लिया तब हिरण ने कहा तुम मुझे बचाना नहीं चाहते थे क्योंकि तुमने धीरे-धीरे शेर से कहा कि मैं पेड़ के पीछे छुपा हूं।तुमने मेरा विश्वास तोड़ा है और मैं तुम्हारे ऊपर कभी भी विश्वास नहीं कर सकता।
नैतिक ज्ञान – “कभी भी किसी का विश्वास नहीं तोड़ना चाहिए”
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